क्वेटियापाइन
मेजर डिप्रेसिव डिसऑर्डर, दोहरी मानसिक विकार ... show more
दवाई के स्थिति
सरकारी मंजूरी
US(FDA), यूके (बीएनएफ)
डब्ल्यूएचओ जरूरी दवाई
हाँ
ज्ञात टेराटोजेन
फार्मास्युटिकल वर्ग
None
नियंत्रित दवा पदार्थ
NO
ई दवाई के बारे में अउरी जानीं -
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क्वेटियापाइन के इस्तेमाल स्किजोफ्रेनिया, बाइपोलर डिसऑर्डर, आ मेजर डिप्रेसिव डिसऑर्डर जइसन हालत के इलाज खातिर कइल जाला। ई कभी-कभी जनरलाइज्ड एंग्जायटी डिसऑर्डर के इलाज खातिर ऑफ-लेबल इस्तेमाल कइल जाला।
क्वेटियापाइन दिमाग के कुछ रसायन, जवन के न्यूरोट्रांसमीटर कहल जाला, पर असर डाल के काम करेला। खास कर के, ई डोपामाइन आ सेरोटोनिन पर काम करेला, मूड के संतुलित करे आ साइकोसिस आ मैनिया के लक्षण के कम करे में मदद करेला।
बड़ लोग खातिर शुरूआती खुराक हालत पर निर्भर करेला। स्किजोफ्रेनिया खातिर, ई आमतौर पर 25 मि.ग्रा. दिन में दू बेर, 300-400 मि.ग्रा./दिन तक बढ़ावल जाला। बाइपोलर डिसऑर्डर खातिर, ई 50 मि.ग्रा. दिन में दू बेर, 400-800 मि.ग्रा./दिन तक बढ़ावल जाला। मेजर डिप्रेसिव डिसऑर्डर खातिर, ई 50 मि.ग्रा. रोजाना से शुरू होखेला, 150-300 मि.ग्रा./दिन तक बढ़ावल जाला। क्वेटियापाइन खाना के साथ या बिना खा सकीला।
क्वेटियापाइन के आम साइड इफेक्ट में उनींदापन, चक्कर आना, मुँह सुखल, वजन बढ़ल, आ कब्ज शामिल बा। कुछ दुर्लभ मामिला में, ई गंभीर हालत जइसे कि उच्च रक्त शर्करा स्तर, उच्च कोलेस्ट्रॉल, आ दिल के धड़कन के समस्या पैदा कर सकत बा।
क्वेटियापाइन दिल के धड़कन के गड़बड़ी, उनींदापन, चक्कर आना, खड़ा होखते समय निम्न रक्तचाप, आ वजन बढ़ल के कारण बन सकत बा। ई गंभीर जिगर के खराबी वाला मरीज या जवन लोगन के क्वेटियापाइन से एलर्जी बा, ओह लोग खातिर सिफारिश ना कइल जाला।
संकेत आ उद्देश्य
कइसे पता चली कि क्वेटियापाइन काम कर रहल बा?
क्वेटियापाइन के लाभ के आमतौर पर स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं द्वारा नियमित निगरानी के माध्यम से मूल्यांकन कइल जाला, जे स्किजोफ्रेनिया, बाइपोलर डिसऑर्डर, या अवसाद जइसन स्थितियन में लक्षण सुधार के आकलन करेला। एकरा में मूड में बदलाव, मनोवैज्ञानिक लक्षण, आ कुल मिलाके कार्यप्रणाली के मूल्यांकन शामिल बा। मानकीकृत रेटिंग स्केल (जैसे, PANSS स्किजोफ्रेनिया खातिर, YMRS उन्माद खातिर, आ HDRS अवसाद खातिर) लक्षण गंभीरता आ उपचार प्रगति के ट्रैक करे खातिर इस्तेमाल कइल जा सकेला। रक्त परीक्षण आ शारीरिक परीक्षा भी साइड इफेक्ट या संभावित जोखिम के निगरानी में मदद कर सकेला। व्यक्तिगत प्रतिक्रिया आ साइड इफेक्ट के आधार पर खुराक में समायोजन कइल जाला।
क्वेटियापाइन कइसे काम करेला?
क्वेटियापाइन मस्तिष्क में न्यूरोट्रांसमीटर के गतिविधि के मॉड्यूलेट करके काम करेला, खासकर डोपामाइन आ सेरोटोनिन। ई विभिन्न रिसेप्टरन पर एगो एंटागोनिस्ट के रूप में काम करेला, जे डोपामाइन D2 आ सेरोटोनिन 5-HT2 रिसेप्टर शामिल बा। ई रिसेप्टरन के ब्लॉक करके, क्वेटियापाइन मनोविकृति, उन्माद, आ अवसाद के लक्षणन के कम करे में मदद करेला। ई न्यूरोट्रांसमीटर के संतुलन मूड में सुधार करेला, मतिभ्रम के कम करेला, आ मूड स्विंग के नियंत्रित करेला, जे स्किजोफ्रेनिया, बाइपोलर डिसऑर्डर, आ अवसाद के लक्षणन से राहत प्रदान करेला।
का क्वेटियापाइन प्रभावी बा?
क्लिनिकल अध्ययन देखावल बा कि क्वेटियापाइन स्किजोफ्रेनिया, बाइपोलर डिसऑर्डर, आ प्रमुख अवसादग्रस्त विकार के इलाज में प्रभावी बा। स्किजोफ्रेनिया में, ई भ्रम आ मतिभ्रम जइसन लक्षणन के कम करेला। बाइपोलर डिसऑर्डर में, ई उन्माद आ अवसाद दुनो के प्रबंधन में मदद करेला, मूड स्थिरता में सुधार करेला। अध्ययनन में ई भी देखावल गइल बा कि जब दोसरा एंटीडिप्रेसेंट अकेले पर्याप्त ना होखे, त अवसाद में सहायक के रूप में क्वेटियापाइन प्रभावी बा। कई गो परीक्षण देखावल बा कि ई लक्षण नियंत्रण आ कुल मिलाके कार्यप्रणाली में महत्वपूर्ण सुधार करेला, जे एकरा के एगो मूल्यवान उपचार विकल्प बनावेला।
क्वेटियापाइन के का उपयोग बा?
क्वेटियापाइन के निम्नलिखित स्थितियन के इलाज खातिर संकेतित बा:
- स्किजोफ्रेनिया: भ्रम, मतिभ्रम, आ अव्यवस्थित सोच जइसन लक्षणन के प्रबंधन खातिर।
- बाइपोलर डिसऑर्डर: उन्मत्त आ अवसादग्रस्त एपिसोड के प्रबंधन खातिर, जइसन तीव्र उन्माद आ बाइपोलर डिप्रेशन।
- प्रमुख अवसादग्रस्त विकार (एक सहायक के रूप में): ओह मरीजन में एंटीडिप्रेसेंट के प्रभाव बढ़ावे खातिर जे अकेले ओहसे प्रतिक्रिया ना देत बा।
- सामान्यीकृत चिंता विकार (ऑफ-लेबल उपयोग): कभी-कभी चिंता खातिर निर्धारित कइल जाला, हालांकि ई उपयोग खातिर एफडीए द्वारा अनुमोदित नइखे।
इस्तेमाल के निर्देश
क्वेटियापाइन के कब तक लेवे के चाहीं?
क्वेटियापाइन के दीर्घकालिक उपयोग से आपन आँख के लेंस में बदलाव हो सकेला। ई सिफारिश कइल जाला कि इलाज के शुरुआत में आ हर छह महीना बाद आपन आँख के जांच करावल जाव। 10 हफ्ता या अधिक समय तक क्वेटियापाइन के इस्तेमाल करे वाला बुजुर्ग डिमेंशिया मरीजन में मृत्यु दर बढ़ल बा। दोसरा अध्ययनन में अल्पकालिक आ दीर्घकालिक प्रभाव देखावल गइल बा, लेकिन उपयोग के सामान्य अवधि निर्दिष्ट नइखे।
क्वेटियापाइन के कइसे लेवे के चाहीं?
क्वेटियापाइन के खाना के साथ या बिना ले सकीला, आ कवनो विशेष भोजन प्रतिबंध नइखे। हालांकि, क्वेटियापाइन के इस्तेमाल करत घरी शराब से बचे के महत्वपूर्ण बा, काहे कि ई चक्कर या सुस्ती जइसन साइड इफेक्ट के जोखिम बढ़ा सकेला। टैबलेट के पूरा निगलल चाहीं, बिना कुचलल या चबावल। ई सबसे अच्छा बा कि क्वेटियापाइन के हर दिन एके समय पर, आदर्श रूप से शाम में, लेवे के ताकि कवनो सुस्ती या सेडेशन प्रभाव के प्रबंधन में मदद मिल सके। खुराक आ समय के स्वास्थ्य सेवा प्रदाता के निर्देश के हमेशा पालन करीं।
क्वेटियापाइन के काम करे में कति समय लागेला?
क्वेटियापाइन बाइपोलर डिसऑर्डर या अवसाद जइसन स्थितियन में मूड सुधार खातिर 1 से 2 हफ्ता में प्रभाव देखावे शुरू कर सकेला। हालांकि, मनोविकृति (स्किजोफ्रेनिया में) जइसन लक्षणन में अधिक महत्वपूर्ण बदलाव खातिर, पूरा चिकित्सीय प्रभाव देखे में कई हफ्ता लाग सकेला। दवा के निर्धारित अनुसार जारी राखल महत्वपूर्ण बा आ प्रगति के निगरानी आ खुराक के समायोजन खातिर फॉलो-अप अपॉइंटमेंट में शामिल होखल जरूरी बा।
क्वेटियापाइन के कइसे स्टोर करे के चाहीं?
क्वेटियापाइन के निम्नलिखित स्थितियन में स्टोर कइल जाव:
- तापमान: एकरा के कमरा के तापमान (बीच 20°C से 25°C या 68°F से 77°F) पर रखीं।
- आर्द्रता: एकरा के सूखा जगह में स्टोर करीं, नमी आ गर्मी से दूर।
- पैकेजिंग: दवा के ओकरा मूल कंटेनर में रखीं ताकि ई रोशनी से सुरक्षित रहे आ एकर अखंडता बनी रहे।
- बच्चा: एकरा के बच्चन के पहुंच से दूर सुरक्षित जगह पर स्टोर करीं ताकि आकस्मिक सेवन से बचल जा सके।
क्वेटियापाइन के सामान्य खुराक का बा?
वयस्कन खातिर, सामान्य दैनिक खुराक 400-800 मिग्रा होला, जे 800 मिग्रा से अधिक ना होखे। बच्चा आ किशोर (10-17 साल) खातिर, सामान्य दैनिक खुराक 400-600 मिग्रा होला, जे 600 मिग्रा से अधिक ना होखे। दवा कइसे काम कर रहल बा आ कइसे सहन कइल जा रहल बा, एकरा के आधार पर खुराक समायोजित कइल जा सकेला।
चेतावनी आ सावधानी
का हम क्वेटियापाइन के दोसरा प्रिस्क्रिप्शन दवाइन के साथ ले सकेनी?
क्वेटियापाइन के कई गो महत्वपूर्ण प्रिस्क्रिप्शन दवा इंटरैक्शन बा, जे शामिल बा:
- CNS डिप्रेसेंट्स: क्वेटियापाइन के दोसरा सेडेटिव्स, जइसन बेंजोडायजेपाइन, शराब, या ओपिओइड्स, के साथ मिलावे से सेडेशन, श्वसन अवसाद, आ संज्ञानात्मक कार्यप्रणाली में कमी के जोखिम बढ़ सकेला।
- एंटीहाइपरटेंसिव दवाइन: क्वेटियापाइन रक्तचाप कम करे वाली दवाइन के प्रभाव बढ़ा सकेला, जे हाइपोटेंशन (खड़ा होखे पर निम्न रक्तचाप) के कारण बन सकेला।
- CYP3A4 इनहिबिटर (जैसे, केटोकोनाजोल, क्लैरिथ्रोमाइसिन, ग्रेपफ्रूट जूस): ई क्वेटियापाइन स्तर बढ़ा सकेला, जे सेडेशन आ हृदय संबंधी समस्या जइसन साइड इफेक्ट के जोखिम बढ़ा सकेला।
- CYP3A4 इंड्यूसर (जैसे, कार्बामाज़ेपिन, फेनाइटोइन): ई क्वेटियापाइन स्तर कम कर सकेला, जे एकर प्रभावशीलता घटा सकेला।
का हम क्वेटियापाइन के साथ विटामिन या सप्लीमेंट ले सकेनी?
क्वेटियापाइन के विटामिन या सप्लीमेंट के साथ कवनो प्रमुख प्रत्यक्ष इंटरैक्शन नइखे, लेकिन कुछ के साथ सावधानी बरतल जाला:
- सेंट जॉन वॉर्ट: ई हर्बल सप्लीमेंट क्वेटियापाइन के प्रभावशीलता के कम कर सकेला एकर मेटाबोलिज्म बढ़ाके, जे दवा के रक्त स्तर के कम कर सकेला।
- विटामिन D: हालांकि कवनो प्रत्यक्ष इंटरैक्शन नइखे, क्वेटियापाइन वजन बढ़ावे आ मेटाबोलिक बदलाव में योगदान दे सकेला, जे कैल्शियम आ हड्डी के स्वास्थ्य पर असर डाल सकेला। हड्डी के स्वास्थ्य खातिर पर्याप्त विटामिन D के सेवन फायदेमंद हो सकेला।
का क्वेटियापाइन के स्तनपान करावत घरी सुरक्षित रूप से लिहल जा सकेला?
क्वेटियापाइन स्तन दूध में छोट मात्रा में उत्सर्जित होला, आ लैक्टेशन के दौरान एकर सुरक्षा ठीक से स्थापित नइखे। जबकि सीमित डेटा ई सुझाव देला कि दवा छोट खुराक में स्तनपान करावे वाली माई खातिर सुरक्षित हो सकेला, शिशु खातिर संभावित जोखिम के तौलल महत्वपूर्ण बा, जे सेडेशन, सुस्ती, या वजन में बदलाव शामिल बा। अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स क्वेटियापाइन के सावधानी से इस्तेमाल करे आ शिशु के कवनो प्रतिकूल प्रभाव खातिर निगरानी करे के सुझाव देला। क्वेटियापाइन लेत घरी स्तनपान करावे के निर्णय के जोखिम आ लाभ के मूल्यांकन खातिर स्वास्थ्य सेवा प्रदाता से चर्चा करना सबसे अच्छा बा।
का क्वेटियापाइन के गर्भावस्था के दौरान सुरक्षित रूप से लिहल जा सकेला?
क्वेटियापाइन गर्भावस्था के दौरान श्रेणी C दवा के रूप में वर्गीकृत बा, मतलब एकर सुरक्षा ठीक से स्थापित नइखे भइल। पशु अध्ययन में गर्भ में पल रहल बच्चा पर संभावित नुकसान देखावल गइल बा, लेकिन मनुष्यों में सीमित नियंत्रित अध्ययन बा। क्वेटियापाइन के गर्भावस्था के दौरान तबे इस्तेमाल कइल जाव जब संभावित लाभ गर्भ में पल रहल बच्चा के जोखिम से अधिक होखे। गर्भावस्था के दौरान, खासकर पहिला तिमाही में, एकरा के इस्तेमाल करे से पहिले स्वास्थ्य सेवा प्रदाता से चर्चा करे के सिफारिश कइल जाला, आ संभव होखे त वैकल्पिक उपचार विकल्प पर विचार कइल जाव। गर्भावस्था के दौरान क्वेटियापाइन के संपर्क में आइल नवजात शिशु वापसी लक्षण या श्वसन समस्या के अनुभव कर सकेला।
का क्वेटियापाइन लेत घरी शराब पीना सुरक्षित बा?
क्वेटियापाइन लेत घरी शराब पीना सिफारिश ना कइल जाला। शराब दवा के सेडेटिव प्रभाव के बढ़ा सकेला, जे चक्कर आ सुस्ती के जोखिम बढ़ा सकेला। इलाज के दौरान शराब के सेवन के सीमित करे या बचे आ व्यक्तिगत सलाह खातिर आपन डॉक्टर से सलाह लीं।
का क्वेटियापाइन लेत घरी व्यायाम करना सुरक्षित बा?
क्वेटियापाइन पर रहते घरी व्यायाम करना आमतौर पर सुरक्षित होला लेकिन संभावित चक्कर या थकान के कारण सावधानी से कइल जाव। हल्का गतिविधि से शुरू करीं आ अपना के कइसे महसूस होत बा, एकरा के देखीं। अगर व्यायाम के दौरान कवनो प्रतिकूल प्रभाव के अनुभव होखे, त कवनो शारीरिक गतिविधि जारी रखे से पहिले अपना स्वास्थ्य सेवा प्रदाता से सलाह लीं।
का क्वेटियापाइन बुजुर्गन खातिर सुरक्षित बा?
बुजुर्ग मरीजन खातिर, क्वेटियापाइन के सावधानी से इस्तेमाल कइल जाला काहे कि साइड इफेक्ट जइसन सुस्ती, चक्कर, आ ऑर्थोस्टेटिक हाइपोटेंशन (खड़ा होखे पर निम्न रक्तचाप) के बढ़ल जोखिम बा। खुराक समायोजन के जरूरत हो सकेला, कम खुराक से शुरू कइल जाला। बुजुर्ग व्यक्तियन में एंटीसाइकोटिक्स लेत घरी स्ट्रोक या डिमेंशिया-संबंधित मनोविकृति के उच्च जोखिम होला। नियमित निगरानी के सिफारिश कइल जाला।
कवन लोग के क्वेटियापाइन से बचे के चाहीं?
क्वेटियापाइन खातिर महत्वपूर्ण चेतावनी आ मतभेद में शामिल बा:
- हृदय संबंधी जोखिम: ई QT प्रोलॉन्गेशन के कारण बन सकेला, जे हृदय अतालता के जोखिम बढ़ा सकेला, खासकर हृदय रोग वाला मरीजन में।
- CNS प्रभाव: ई सेडेशन, चक्कर, आ ऑर्थोस्टेटिक हाइपोटेंशन (खड़ा होखे पर निम्न रक्तचाप) के कारण बन सकेला, जे गिरावट के जोखिम बढ़ा सकेला।
- मेटाबोलिक प्रभाव: ई वजन बढ़ल, रक्त शर्करा में वृद्धि, आ उच्च कोलेस्ट्रॉल के कारण बन सकेला, जे मधुमेह या मेटाबोलिक सिंड्रोम खातिर निगरानी के जरूरत होला।
- न्यूरोलेप्टिक मैलिग्नेंट सिंड्रोम (NMS): एगो दुर्लभ लेकिन संभावित घातक स्थिति जे उच्च बुखार, मांसपेशी कठोरता, आ बदलेल मानसिक स्थिति के विशेषता बा।
- मतभेद: क्वेटियापाइन या समान दवाइन से ज्ञात एलर्जी वाला मरीजन में, आ गंभीर यकृत हानि वाला लोग में।